Against Corruption

25/09/2013 17:33

हमारे घर में डकैत घुस आए, और लूट-पाट कर चल दिए। हमने अपने लिए एक वकील चुना और डकैतों पर मुक़दमा किया। जब सुनवाई की बारी आई, तो हमारा वकील डकैतों से मिल गया। तो हमारा वकील 'हमारा' रह गया क्या? कुछ लोगों ने कांग्रेस की लूट-पाट से तंग आ कर भाजपा की तरफ देखना शुरू कर दिया था। लेकिन वही भाजपा जब सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बावजूद दागी/सिद्ध-दोष अपराधियों को (जिनकी कुल संख्या संसद में 153 है, जिसमे 'शर्म-निरपेक्ष' रूप से लगभग सभी पार्टियों के सांसद शामिल हैं) सदनों से बाहर रखने के प्रस्ताव के खिलाफ कांग्रेस के साथ जा मिले, वही भाजपा जब अपना हिसाब-किताब RTI के अन्दर लाने के प्रस्ताव के खिलाफ कांग्रेस के साथ खड़ी दिखे, वही भाजपा जब कड़े कानून बनने के रस्ते में खड़े हो कर कांग्रेस की मदद करे, तो क्या उसकी तरफ किसी भी उम्मीद की नज़र से देखना सही है? हम कैसे उस पार्टी से प्रगतिशील और दूरदर्शी होने की उम्मीद कर सकते हैं, जिसकी वेबसाइट पर vision document के नाम पर अब तक 2004 का vision document चिपका हुआ हो (https://www.bjp.org/index.php?option=com_content&view=article&id=136&Itemid=1005)।
यह vision की कमी है, या document की, यह तो भाजपा के मित्र ही बता सकते हैं, लेकिन छत्तीसगढ़ जैसे संघर्षरत राज्य में ढाई करोड़ का 'लाल-किला' बनवा देने वाले और सैकड़ों करोड़ का ब्रांडिंग प्रोजेक्ट आउटसोर्स कर देने वाले नवनीत-नवचयनित नेता क्या एक ढंग का विज़न डॉक्यूमेंट नहीं बनवा सके? क्या यही देश के प्रति इनकी गंभीरता का उदाहरण है? इतना तो जनता ज़रूर पूछेगी। अब भाजपा के सदस्य और समर्थक तो इन सवालों के तर्कसंगत जवाब तैयार रखें, और पेड नेट-वीर' अपनी USP, यानि गाली-गलौज पर उतर आएँ।

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